मन के पाखी
*हिंदी कविता* अंतर्मन के उद्वेलित विचारों का भावांकन। ©श्वेता सिन्हा
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उत्तरदायी... पंथ#प्रवृतियाँ# छंदमुक्त सामाजिक कविता
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Saturday, 6 February 2021
उत्तरदायी
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शताब्दियों से विश्व की तमाम सभ्यताओं के आत्ममुग्ध शासकों के द्वारा प्रजा के लिए बनाये नियम और निर्गत विशेषाधिकार के समीकरणों से असंतुष्ट, अ...
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