मन के पाखी
*हिंदी कविता* अंतर्मन के उद्वेलित विचारों का भावांकन। ©श्वेता सिन्हा
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हमें चाहिए आज़ादी.... सामाजिक कविता
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Saturday, 21 December 2019
हमें चाहिए आज़ादी
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चित्र:साभार गूगल ---- अधिकारों का ढोल पीटते अमन शहर का,चैन लूटते, तोड़-फोड़,हंगामा और नारा हमें चाहिए आज़ादी...! बहेलिये के फ...
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