मन के पाखी
*हिंदी कविता* अंतर्मन के उद्वेलित विचारों का भावांकन। ©श्वेता सिन्हा
Pages
(Move to ...)
Home
प्रकृति की कविताएं
दार्शनिकता
छंदयुक्त कविताएँ
प्रेम कविताएँ
स्त्री विमर्श
सामाजिक कविता
▼
Showing posts with label
मत लिखो प्रेम कविताएँ....कविता
.
Show all posts
Showing posts with label
मत लिखो प्रेम कविताएँ....कविता
.
Show all posts
Monday, 16 April 2018
मत लिखो प्रेम कविताएँ
›
मत लिखो प्रेम कविताऐं महसूस होती प्रेम की अनुभूतियों को हृदय के गोह से निकलते उफ़नते भावों के मुख पर रख दो संयम का भारी पत्थर ...
45 comments:
›
Home
View web version